भारत की लोकसभा में 543 सीटें हैं। केंद्र में सरकार बनाने के लिए आधे से एक ज्यादा यानी 272 सीटों की जरूरत होती है। बीजेपी को बीते दो चुनावों में स्पष्ट बहुमत मिला था। 2014 में 282 सीटें और 2019 में 303 सीटें। 2024 चुनाव में प्रधानमंत्री मोदी ने बीजेपी के लिए 370 सीटों की जीतने का लक्ष्य रखा है।
भास्कर एक्सप्लेनर में जानेंगे 370 सीटों का लक्ष्य ही क्यों; मोदी सरकार ऐसा क्या करना चाहती है, जिसके लिए 370 बेहद अहम है?
370 का टारगेट रखने के पीछे 3 मेजर स्ट्रैटजी हैं…
- सिंबोलिज्म: आर्टिकल 370 हटाने को बार-बार याद दिलाना बीजेपी ने अपने कार्यकाल में कई ऐतिहासिक फैसले किए, जिनमें आर्टिकल 370 हटाना प्रमुख था। बीजेपी कई दशकों से अपने मैनिफेस्टो में इसे हटाने का वादा करती रही थी। 2019 में आर्टिकल 370 और अनुच्छेद 35(ए) निरस्त कर जम्मू-कश्मीर का विशेष राज्य का दर्जा खत्म कर दिया।
वरिष्ठ पत्रकार अरुण दीक्षित कहते हैं कि मोदी ने कश्मीर से धारा 370 हटाई है। इसी आधार पर वो लोगों को इमोशनल गेम खेलकर उनसे बीजेपी को 370 सीटें देने की बात कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने एक फॉर्मूला भी दिया। उन्होंने हर कार्यकर्ता से यह सुनिश्चित करने को कहा कि पार्टी को पिछली बार की तुलना में हर बूथ पर 370 वोट अधिक मिलें। इससे 370 सीटों का टारगेट आसानी से हासिल कर लिया जाएगा।
- साइकोलॉजी: जीत-हार की बजाए 370 सीटों की चर्चा हो रही प्रधानमंत्री मोदी ने 370 सीटों की बात उछाल कर वोटर और पार्टी कैडर को संदेश दिया है कि 2024 का चुनाव तो बीजेपी ही जीत रही है। अब हर तरफ इस बात की चर्चा है कि बीजेपी 370 सीटें जीत पाएगी या नहीं। 370 सीटों की बात करके मोदी ने इंडियन गठबंधन और विपक्षी दलों पर साइकोलॉजिकल दबाव बनाया है।
पॉलिटिकल एक्सपर्ट रशीद किदवई कहते हैं कि बड़े लक्ष्य को तय कर विपक्ष, वोटर और कार्यकर्ताओं को चौंकाना मोदी-शाह की राजनीति का हिस्सा रहा है।
- तैयारी: देश में बड़े बदलावों के लिए बड़ी तैयारी जानकार बताते हैं कि बीजेपी ने 370 सीटों का टारगेट इसलिए रखा है, ताकि बड़े बदलाव करने में किसी और की जरूरत न पड़े। वरिष्ठ पत्रकार अरुण दीक्षित कहते हैं कि मोदी की कार्यशैली बताती है कि वो चाहें तो बड़े संविधान संशोधन भी कर सकते हैं। इन दो बयानों से इसकी झलक भी मिल गई।
5 फरवरी 2024 को लोकसभा में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमारा तीसरा कार्यकाल अगले 1,000 सालों के लिए मजबूत नींव रखने का काम करेगा।
10 मार्च 2024 को बीजेपी सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री अनंत हेगड़े ने कहा कि संविधान संशोधन करने और कांग्रेस द्वारा इसमें की गई विकृतियां हटाने के लिए दो तिहाई बहुमत चाहिए। साथ ही 20 से ज्यादा राज्यों में सत्ता में आना होगा।
डॉ. भीमराव आंबेडकर ने संविधान सभा में संशोधन के प्रस्ताव को पेश करते हुए यह कहा था कि ‘जो संविधान से असंतुष्ट हैं, उन्हें बस दो-तिहाई बहुमत प्राप्त करना होगा। यदि वे वयस्क मत के आधार पर निर्वाचित संसद में दो-तिहाई बहुमत भी नहीं पा सकते हैं तो यह समझा जाना चाहिए कि संविधान के प्रति असंतोष में जनता उनके साथ नहीं है।’